Hello Friends आज के इस आर्टिकल में जानेगे Body Parts Name in Hindi Chart और Human body structure के साथ साथ शरीर की संरचना का चित्र मानव शरीर के बारे में जानेगे मै आशा करती हु की आप जिस उत्साह से आये है हमारे इस पोस्ट में उसी उत्साह से आपको सभी जानकारी प्रदान कर पाउ चाहे Human body structure या फिर मानव शरीर के बारे में देर न करते हुये आर्टिकल को पढ़ते है |
शारीरिक पाश्चर शिक्षा
पाश्चर
यह तात्पर्य किसी मुख्य स्थिति में शरीर को रखने या घुमाने या मोड़ने से पाश्चर तथा व्यक्तित्व में गहरा संबंध है अच्छे पासवर्ड से तात्पर्य अच्छे व्यक्तित्व से हैं एक अच्छे भारतीयता शरीर वाला मनुष्य स्वस्थ होता है अच्छा कार्य करता है तथा उसकी शारीरिक व मानसिक शक्ति में वृद्धि होती है शरीर का सही ढंग से संतुलित होने!शरीर के मन में स्थल पर दबाव कम पड़ता है तथा शरीर के सभी अंग अच्छे तालमेल से कार्य करते हैं
उद्देश्य
(1).शरीर के अंगों को सही ढंग से हरकत करने की सिखलाई देना
(2).शरीर के विभिन्न अंगों की प्रणाली में सुधार करना
(3).शरीर को संभाल कर के आकर्षक करना
उचित तथा अनुचित पाश्चर
यदि एकयदि एक पल लंब लाइन या सीधी रेखा शरीर की एक और खींची जाए और यह रेखा सिर के ऊपर केंद्र भाग से आरंभ होकर कान कंधे घुटने के मध्य से होकर टखने की हड्डी पर गिरे तो उचित पास पाश्चर । यदि शरीर अस्वस्थ है या उसमें कुछ कमी है तो यह रेखा इन अंगों को नहीं छोड़ेगी यह शरीर का अनुचित पाश्चरड कहलाएगा । अभिजीत पाश्चर स्वास्थ्य तथा पुष्ट शरीर का द्योतक है
इसमें सिर्फ छाती के आगे की ओर झुक जाती है तथा चपटी हो जाती है पेट बाहर निकल आता है कंधे झुक जाते हैं घुटने आपस में रगड़ जाते हैं इसके कारण मनुष्य को खड़े होने उठने बैठने झुकने तथा चलने में कठिनाई हो जाती है हड्डियों तंतुओं तथा मांस पेशियों में अपना संतुलन नहीं रहता हैहड्डियों तंतु तथा मांसपेशियों में अपना संतुलन नहीं रहता है शरीर को सदा थकावट रहती है और शक्ति कम हो जाती है
अनुचित पाश्चार के कारण
(1).व्यवसाय के कारण
बहुत से व्यवसाय ऐसे हैं जिनसे एक और की मांसपेशियों का व्यायाम होता है तथा वे उस और अधिक झुक जाती है जैसे दर्जी का व्यवसाय पीठ पर भार उठाने का व्यवसाय माली तथा मजदूर का व्यवसाय यदि और मांसपेशियों को बयान न दिया जाए तो गोल कंधो जैसे दोष उत्पन्न हो जाते हैं
(2).पौष्टिक भोजन का आप अभाव
पौष्टिक भोजन न मिलने से मांसपेशियां कमजोर पड़ जाती है कम आयु बालक की अस्थियों का विकास रुक जाता हैै
(3).बयान तथा बुरी आदतों द्वारा
(1).यदि व्यायाम से लाभ होता है तो इसे हानियां भी हो जाती हैं यदि किसी कमजोर अंग को अधिक व्यायाम दिया जाए तो शरीर के पाश्चर । दोष हो जाता है। इसलिए ध्यान रखना चाहिए कि किसी अंग को बयान की आवश्यकता है किसको नहीं।
(2).अनुचित ढंग से बैठने पढ़ने लिखने और खड़े होने के कारण भी पाश्चर आसान हो जाता यह
(4).स्वच्छ वायु प्रकाश विश्राम नींद तथा व्यायाम के अभाव के द्वारा
वायु के बिना फेफड़ों में गंदा खून साफ नहीं हो सकता प्रकाश के प्रभाव से आंखें कमजोर हो जाती हैं विश्राम के अभाव से मांसपेशियां ठीक तथा पूर्ण काम नहीं करती और नींद के अभाव से शरीर संतुलन बिगड़ जाता है व्यायाम के अभाव से मांसपेशियों तथा अन्य अंगों का कारयशील ढीला हो जाता है
(5) ठीक शारीरिक वस्त्रों को न पहनने से
बच्चे दिन प्रतिदिन बढ़ते रहते हैं माता-पिता को उनके कपड़े भी ठीक सिलवाने चाहिए आजकल के फैशन के अनुसार बच्चे चुस्त कपड़े पहनते हैं जिससे शरीर के अंगों को संकुचित होना पड़ता है युवावस्था में चुस्त कपड़े पहनने से शरीर के अंग प्रदर्शित भी होते हैं उम्र को छुपाने के लिए कंधे आगे को झुकाने पढ़ते हैंउनको छुपाने के लिए कंधे आगे को झुकाने
पड़ते हैं पृथ्वी कैसे कपड़े पहनते रहने से कंधे आगे झुकने की आदत सी पड़ जाती है
(6).ठीक बूट ना पहनने के कारण
बच्चे फैशन के वशीभूत होकर तंग मोहरी वाले बूट पहनते हैं जिससे पंजाब कैसे जाता हैै तथा थोड़ी देर बाद ही दस्त रुकने से पैरों में दर्द होना आरंभ हो जाता है उसके कारण व्यक्ति चलने में तथा खड़े होने में दुख अनुभव करता है शरीर के पास चले पर बुरा प्रभाव पड़ता है !
(7).शरीर का भार
शरीर का भार अधिक हो जाने से क्या मोटापा बढ़ जाने से शरीर के संचालन में बाधा पड़ती हैतथा मनुष्य अपने आप को बुरातथा मनुष्य अपने आप को बुरा समझने लगता हैं
(8) शरीर का भार आयु योग तथा लंबाई का अनुपात से संतुलित होना चाहिए यदि शरीर को कोई रोग नहीं हैतो बाहर बयान द्वारा ही काम करना चाहिएकम भोजन खाना लाभदायक नहींइससे शरीर में रक्त की कमी हो जाती है!
(8).थकावट
यदि शरीर अधिक ज्यादा है!यदि शरीर अधिक थक जाता हैतो उसके अंगों को अधिक जोर लगाना पड़ता हैयदि शरीर के अंगों को आराम ना दिया जाए तो अंगों की आकृति में दोष उत्पन्न होने लगते हैंइसलिए अंगों को ठीक रखने के लिए आराम ही बहुत आवश्यकता है!
(9).चोट के कारण
यदि शरीर के किसी अंग पर चोट लग जाए तो शरीर के भार का संतुलन बिगड़ जाता हैवह ठीक ढंग से चल फिर नहीं सकता
(10).शारीरिक रोग
शारीरिक दोष जैसे आंखों काशारीरिक दोष जैसे आंखों का बहरापन हृदय रोग दमा आदि लोगों से शरीर के अंगों में दोष उत्पन्न होता हैजो शारीरिक पाश्चर पर भी बुरा प्रभाव डालतेे हैं।
अनुचित पाश्चर कारण शारीरिक दोष
कूबड़ निकल आना
इस रोग में छाती की मांसपेशियां खिंच जाती है तथा छाती का पिछला हिस्सा फैल जाता है इस प्रकार से आगे की ओर झुक जाता हैं वक्ष ,चपटा हो जाता है तथा शरीर के भार का संतुलन भी बिगड़ जाता हैयह पौष्टिक भोजन पुराने रोग वायु का अभाव रोशनी का अभाव बहरापन तथा आंखों की कमजोरियां अभिजीत कपड़े सुखा रोग तथा कंधों पर अधिक ध्यान रखने के कारण होता हैं
गर्दन को पीछे की ओर धकेलना
रोगी खड़ा होकर अपने दोनों हाथों को जोड़ लेता हैउसके पश्चात गर्दन को पीछे की ओर धकेल ता हैतथा सीलिंग का तथा लिंग का आगे की ओर धकेल देता जो
रेत के थैले द्वारा गर्दन का व्यायाम
रोगी जमीन पर पीठ के बल लेट जाता हैतथा अपने कदमों के नीचे रेत का थैला रख लेता हैअपने समस्त शरीर को आंकड़ा कर गर्दन जमीन की ओर धकेल देता है
गोल कंधे
इसी स्थान पर ट्रेपीजियस राम्बाईड तथा लेवेटोरस स्केपूला
मांस पेशियों को छोटा तथा। पेक्टो रैलिस मेजर और
मेजर और माइनर बड़ा होता है
मनुष्य के शरीर की संरचना / Structure and work of human body
मानव शरीर के अंगों के नाम हिंदी और अंग्रेजी में
Parts Name in English | Parts Name in Hindi |
Arm (आर्म) | बांह , भुजा |
Eye (आई) | आँख |
Figures (फिंगर्स) | हाथ की अंगुलियां |
Toe (टो) | पैर की अंगुलियां |
Heel (हील) | एड़ी |
Shoulder (शोल्डर) | कंधे |
Hair (हेयर) | बाल |
Armpit (आर्मपिट) | हाथ के बगल में (कांख) |
Palm (पाम) | हथेली |
Skull (स्कल) | खोपड़ी |
Trunk (ट्रंक) | धड़ |
Bone (बोन) | हड्डी |
Skin (स्किन) | त्वचा / चमड़ी |
Face (फेस) | चेहरा |
Chest (चेस्ट) | पुरुष की छाती |
Breast (ब्रेस्ट) | स्त्री की छाती |
Lock (लॉक) | बालों की लट |
Neck (नेक) | गर्दन |
Womb (वॉम्ब) | गर्भाशय |
Forehead (फॉरहेड) | ललाट / माथा |
Mustache (मस्टेक) / Whiskers (व्हिस्कर्स) | मूंछ |
Throat (थ्रोट) | गला |
Cheeks (चीक्स) | गाल |
Lap (लैप) | गोद |
Nose (नोज) | नाक |
Eyelid (आईलिड) / Eyelash (आईलैश) | पलक / पलकें |
Penis (पेनिस) | लिंग |
Vagina (वजाइना) | योनि |
Blood (ब्लड) | रक्त / खून |
Tooth (टूथ) | दांत |
Brain (ब्रेन) | दिमाग |
Nail (नेल) | नाख़ून |
Eye Brow (आई ब्रॉ) | भौहें , भंवर |
Mouth (माउथ) | मुंह / मुख |
Heart (हार्ट) | ह्रदय |
Hand (हैंड) | हाथ |
Leg (लेग) | टांग |
Thigh (थाई) | जांघें |
Ankle (एंकल) | टखना |
Rib (रिब) | पसली |
Pulse (पल्स) | नाड़ी |
Liver (लिवर) | जिगर |
Lung (लंग) | फेफड़ा |
Bun (बन) | बालों का जुड़ा |
Bile (बाइल) | पित्त |
Trachea (ट्रेकिआ) | स्वास नली / कंठनाल |
Nerve (नर्व) | नस |
Back (बैक) | पीठ |
Wrist (रिस्ट) | कलाई |
Ear (ईयर) | कान |
शरीर के अंगों के नाम (Body Parts Name in Hindi Chart)
मानव शरीर के अंदरूनी अंगों के नाम हिंदी अंग्रेजी में
Thyroid – थइरोइड | थाइरोइड |
Thymus – थाइमस | बाल्यग्रन्थि |
Heart – हार्ट | हृदय, दिल |
Kidney – किडनी | किडनी |
Bladder – ब्लैडर | मूत्राशय |
intestines – इंटेस्टिन्स | आँत |
Reproductive System – रिप्रोडक्टिव सिस्टम | प्रजनन अंग |
Brain – ब्रेन | दिमाग |
Liver – लिव: | यकृत |
Stomach – स्टोमच | आमाशय |
Pancreas – पैनक्रिअस | अग्न्याशय |
Large intestine – लार्ज इंस्टन्टाइन | बड़ी आंत |
Lung – लंग | फेफड़ा |
FAQs : Body Parts Name in Hindi Chart
important organs of the human body brain, lungs, heart, kidney, liver, stomach, intestines, bladder.
विज्ञान के अनुसार मानव शरीर में 78 अंग होते हैं।
दिमाग है जो मानव शरीर के अंदर जो की 24 घंटो काम करता है |